
क्या आप 6 अक्टूबर 2025 को अपने दिन की शुरुआत शुभ मुहूर्त और पंचांग के अनुसार करना चाहते हैं? आज का पंचांग (Aaj Ka Panchang) आपके लिए हिंदू कैलेंडर के आधार पर महत्वपूर्ण जानकारी लेकर आया है, जिसमें शरद पूर्णिमा, शुभ मुहूर्त, राहु काल, और अन्य ज्योतिषीय विवरण शामिल हैं। यह लेख SEO-अनुकूलित है, जो Google पर रैंक करने और अधिक क्लिक्स प्राप्त करने के लिए तैयार किया गया है। आइए जानते हैं 6 अक्टूबर 2025 का विस्तृत पंचांग!
पंचांग क्या है?
पंचांग हिंदू ज्योतिष का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो तिथि, नक्षत्र, योग, करण, और वार जैसे पांच अंगों पर आधारित होता है। यह शुभ कार्यों, जैसे विवाह, गृह प्रवेश, और पूजा के लिए सही समय निर्धारित करने में मदद करता है। 6 अक्टूबर 2025 के पंचांग में शरद पूर्णिमा का विशेष महत्व है, जो चंद्रमा की पूर्णिमा पर कोजागरी पूजा और स्वास्थ्य के लिए शुभ मानी जाती है।
6 अक्टूबर 2025 का पंचांग: महत्वपूर्ण विवरण
तिथि और वार
- तिथि: चतुर्दशी (शुक्ल पक्ष) दोपहर 12:24 PM तक, उसके बाद पूर्णिमा।
- वार: सोमवार
- पक्ष: शुक्ल पक्ष
- मास: आश्विन
सूर्योदय और सूर्यास्त
- सूर्योदय: सुबह 06:17 AM
- सूर्यास्त: शाम 06:01 PM
चंद्रोदय और चंद्रास्त
- चंद्रोदय: शाम 05:27 PM
- चंद्रास्त: अगले दिन सुबह 06:14 AM
नक्षत्र, योग, और करण
- नक्षत्र: पूर्वाषाढ़ा (सुबह तक), उसके बाद उत्तराषाढ़ा।
- योग: वृद्धि (दोपहर 01:13 PM तक), उसके बाद धृति योग।
- करण: विष्टि (दोपहर 12:24 PM तक), उसके बाद बालव।
शरद पूर्णिमा: महत्व और पूजा विधि
शरद पूर्णिमा आश्विन मास की पूर्णिमा को मनाई जाती है, जो चंद्रमा की सबसे पूर्ण कला का प्रतीक है। यह रात्रि में चंद्रमा की किरणों से अमृत बरसने का दिन माना जाता है। कोजागरी पूजा (रात्रि जागरण) और खीर का भोग लगाना विशेष फलदायी है। यह व्रत स्वास्थ्य, समृद्धि और मोक्ष के लिए रखा जाता है।
पूजा विधि
- प्रातः स्नान: सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र धारण करें।
- पूजा स्थल: चंद्रमा या भगवान विष्णु/लक्ष्मी की मूर्ति स्थापित करें।
- व्रत संकल्प: शरद पूर्णिमा व्रत का संकल्प लें।
- पूजा सामग्री: खीर, दूध, चंदन, फूल, और दीप चढ़ाएं।
- मंत्र जाप: “ॐ चंद्राय नमः” मंत्र का जाप करें।
- कथा: शरद पूर्णिमा कथा पढ़ें या सुनें।
- रात्रि जागरण: रात में चंद्रमा दर्शन करें और खीर का भोग लगाएं।
- दान: जरूरतमंदों को दूध और खीर दान करें।
व्रत के नियम
- फलाहार या सात्विक भोजन (खीर) करें।
- रात्रि जागरण रखें और भजन करें।
- नकारात्मक विचारों से दूर रहें।
शुभ मुहूर्त: कार्य शुरू करने का सही समय
6 अक्टूबर 2025 को विभिन्न कार्यों के लिए शुभ मुहूर्त इस प्रकार हैं:
- अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 11:51 AM से 12:38 PM।
- विवाह मुहूर्त: उपलब्ध (पूर्णिमा में शुभ) – दोपहर 12:00 PM से 01:30 PM।
- गृह प्रवेश: सुबह 06:30 AM से 08:30 AM।
- वाहन खरीदारी: सुबह 08:45 AM से 10:45 AM।
- नामकरण/मुंडन: दोपहर 12:10 PM से 02:10 PM।
नोट: शुभ मुहूर्त में कार्य शुरू करने से पहले अपने ज्योतिषी से सलाह लें।
राहु काल: अशुभ समय से बचें
राहु काल वह समय होता है जब कोई भी शुभ कार्य शुरू नहीं करना चाहिए। 6 अक्टूबर 2025 का राहु काल (सोमवार के लिए):
- समय: सुबह 07:45 AM से 09:13 AM।
- सुझाव: इस दौरान यात्रा, नए कार्य, या महत्वपूर्ण निर्णय लेने से बचें।
अन्य अशुभ काल:
- यमगंड: सुबह 10:41 AM से 12:09 PM।
- गुलिक काल: दोपहर 01:37 PM से 03:05 PM।
अन्य ज्योतिषीय जानकारी
- चंद्र राशि: मीन (दोपहर 12:24 PM तक, उसके बाद मेष)।
- सूर्य राशि: कन्या।
- विशेष: शरद पूर्णिमा पर चंद्रमा की पूर्णिमा से स्वास्थ्य और समृद्धि प्राप्ति। वृद्धि योग धन और विकास के लिए शुभ।
6 अक्टूबर 2025 को क्या करें और क्या न करें?
क्या करें?
- शरद पूर्णिमा पर चंद्रमा दर्शन और कोजागरी पूजा करें।
- शुभ मुहूर्त में महत्वपूर्ण कार्य शुरू करें।
- दान-पुण्य और परिवार के साथ समय बिताएं।
क्या न करें?
- राहु काल में कोई शुभ कार्य शुरू न करें।
- तामसिक भोजन और नकारात्मक विचारों से दूर रहें।
- बिना ज्योतिषीय सलाह के बड़े निर्णय लेने से बचें।
निष्कर्ष
6 अक्टूबर 2025 का पंचांग आपके दिन को शुभ और सफल बनाने में मदद करेगा। शरद पूर्णिमा का व्रत और शुभ मुहूर्त का पालन करके आप स्वास्थ्य और समृद्धि प्राप्त कर सकते हैं। इस दिन को और खास बनाने के लिए चंद्रमा की भक्ति में लीन हों और अपने कार्यों को शुभ मुहूर्त में शुरू करें।
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