Ganesh Chaturthi 2025: आज से शुरू गणपति महोत्सव, जानें शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और 5 जरूरी टिप्स!

0
621
ganesh chaturthi 2025

Ganesh Chaturthi 2025 का शुभारंभ आज, 27 अगस्त 2025 से हो रहा है, और यह 10 दिवसीय महोत्सव 6 सितंबर को अनंत चतुर्दशी के साथ समाप्त होगा। यह पर्व भगवान गणेश की भक्ति और उत्साह का प्रतीक है, जिन्हें विघ्नहर्ता और सिद्धिदाता माना जाता है। इस दिन घरों और मंदिरों में मिट्टी की गणेश प्रतिमा स्थापित की जाती है, और उनकी पूजा से सुख, समृद्धि और बुद्धि की प्राप्ति होती है। आइए, इस SEO-अनुकूलित लेख में जानते हैं Ganesh Chaturthi 2025 के शुभ मुहूर्त, पूजा विधि, और 5 जरूरी टिप्स, जो आपके उत्सव को और शुभ बनाएंगे!

Ganesh Chaturthi का महत्व

Ganesh Chaturthi भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है। मान्यता है कि इस दिन भगवान गणेश का जन्म हुआ था, और उनकी पूजा से जीवन के सभी विघ्न दूर होते हैं। मिट्टी की प्रतिमा की स्थापना और पूजा को अत्यंत मंगलकारी माना जाता है। यह पर्व न केवल भक्ति का प्रतीक है, बल्कि परिवार और समुदाय को एकजुट करने का भी अवसर देता है।

Ganesh Chaturthi Subh Muhurat : Ganesh Chaturthi शुभ मुहूर्त

वैदिक पंचांग के अनुसार, भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी तिथि 26 अगस्त 2025 को दोपहर 1:53 PM से शुरू होकर 27 अगस्त 2025 को दोपहर 3:43 PM तक रहेगी। उदिया तिथि के आधार पर, गणेश चतुर्थी 27 अगस्त को मनाई जाएगी। गणपति स्थापना और पूजा के लिए शुभ मुहूर्त इस प्रकार हैं:

  • प्रातः काल मुहूर्त: सुबह 11:01 AM से दोपहर 1:40 PM।
  • दूसरा मुहूर्त: दोपहर 1:39 PM से शाम 6:05 PM।
  • पूजा का शुभ समय: सुबह 11:05 AM से दोपहर 1:40 PM।

सुझाव: शुभ मुहूर्त में मूर्ति स्थापना और पूजा करने से गणपति बाप्पा की कृपा कई गुना बढ़ जाती है। स्थानीय पंचांग के अनुसार समय की पुष्टि करें।


Ganesh Chaturthi Puja Vidhi

गणेश चतुर्थी की पूजा विधि सरल लेकिन भक्ति से भरी है। नीचे दिए गए स्टेप्स का पालन करें:

  1. पूजा स्थल की तैयारी:
    • घर के पूजा स्थान को अच्छे से साफ करें।
    • रंगोली, फूल, और सजावटी सामग्री से स्थान को सजाएं।
    • ईशान कोण (उत्तर-पूर्व दिशा) में लकड़ी की चौकी पर लाल या पीला कपड़ा बिछाएं।
  2. गणेश प्रतिमा स्थापना:
    • मिट्टी, पीतल, कांस्य, या लकड़ी से बनी गणेश मूर्ति को चौकी पर स्थापित करें।
    • मूर्ति को शुद्ध जल से स्नान कराएं।
  3. संकल्प:
    • हाथ में जल, अक्षत (चावल), और फूल लेकर व्रत और पूजा का संकल्प लें।
    • मंत्र: ॐ गं गणपतये नमः का जाप करते हुए गणपति का आह्वान करें।
  4. पंचामृत स्नान:
    • गणेश जी को दूध, दही, घी, शहद, और शक्कर से बने पंचामृत से स्नान कराएं।
    • इसके बाद शुद्ध जल से स्नान कराकर नए वस्त्र और आभूषण अर्पित करें।
  5. पूजा और भोग:
    • गणपति को दूर्वा घास, लाल फूल, बेलपत्र, और मोदक/लड्डू का भोग लगाएं।
    • बेसन या बूंदी के लड्डू और मोदक गणेश जी के प्रिय हैं।
  6. कथा और आरती:
    • गणेश चतुर्थी की कथा पढ़ें या सुनें।
    • “जय गणेश जय गणेश जय गणेश देवा” आरती करें।
  7. विसर्जन:
    • 1.5, 3, 5, 7, या 10 दिन बाद अनंत चतुर्दशी (6 सितंबर 2025) को श्रद्धापूर्वक विसर्जन करें।
    • विसर्जन से पहले गणपति की अंतिम आरती करें और मंत्र जाप करें।

मंत्र:

  • ॐ गं गणपतये नमः
  • ॐ एकदंताय नमः
  • ॐ विघ्नहर्ताय नमः

Ganesh Chaturthi के 5 जरूरी टिप्स

गणेश चतुर्थी को शुभ और सफल बनाने के लिए इन 5 टिप्स का पालन करें:

  1. इको-फ्रेंडली मूर्ति: मिट्टी से बनी गणेश प्रतिमा का उपयोग करें। यह पर्यावरण के लिए शुभ और धार्मिक दृष्टि से भी उचित है।
  2. शुभ मुहूर्त में स्थापना: 27 अगस्त को सुबह 11:01 AM से दोपहर 1:40 PM के बीच मूर्ति स्थापित करें।
  3. प्रिय भोग: गणेश जी को मोदक, लड्डू, और दूर्वा घास अर्पित करें। पुराणों के अनुसार, गणेश जी को मोदक बहुत प्रिय हैं।
  4. कथा पाठ: गणेश चतुर्थी की कथा सुनना या पढ़ना अनिवार्य है। यह भक्ति को बढ़ाता है।
  5. विसर्जन की तैयारी: विसर्जन के लिए जलाशय या घर पर जल से भरे पात्र का उपयोग करें। “गणपति बाप्पा मोरया” का जाप करते हुए विसर्जन करें।

Ganesh Chaturthi : क्या करें और क्या न करें?

क्या करें?

  • शुभ मुहूर्त में मूर्ति स्थापना और पूजा करें।
  • रोजाना गणेश जी की आरती और भोग लगाएं।
  • जरूरतमंदों को दान करें (मोदक, कपड़े, या अन्न)।
  • भक्ति और श्रद्धा के साथ उत्सव मनाएं।

क्या न करें?

  • तामसिक भोजन (प्याज, लहसुन, मांस) का सेवन न करें।
  • पूजा स्थल पर गंदगी या अशुद्धता न रखें।
  • भद्रा काल या अशुभ समय में मूर्ति स्थापना से बचें।
  • क्रोध या नकारात्मक विचारों से दूर रहें।

Ganesh Chaturthi की पौराणिक कथा

Ganesh Chaturthi Katha, पौराणिक कथाओं के अनुसार, माता पार्वती ने मिट्टी से भगवान गणेश की रचना की थी और उन्हें अपने द्वारपाल के रूप में नियुक्त किया। जब भगवान शिव ने प्रवेश करने की कोशिश की, तो गणेश ने उन्हें रोक दिया, जिसके बाद शिव ने उनका सिर काट दिया। माता पार्वती के दुखी होने पर शिव ने गणेश को हाथी का सिर देकर पुनर्जनम दिया और उन्हें प्रथम पूज्य का दर्जा दिया। यही कारण है कि गणेश चतुर्थी को विघ्नहर्ता और सिद्धिदाता की पूजा का पर्व माना जाता है।

ganesh chaturthi wishes in marathi

  • गणेश चतुर्थीच्या हार्दिक शुभेच्छा! गणपती बाप्पा आपल्या आयुष्यात सुख, शांती आणि समृद्धी आणो. 🙏
  • 🌸 गणपती बाप्पा मोरया! मंगलमूर्ती मोरया! या पवित्र दिवशी आपल्या सर्व मनोकामना पूर्ण होवोत.
  • 🪔 विघ्नहर्ता श्री गणेशा, तुझ्या कृपेने आमचे जीवन आनंदमय होवो. गणेश चतुर्थीच्या मनःपूर्वक शुभेच्छा!
  • 🌺 श्री गणेशाच्या आगमनाने घरात आनंद, सुख-शांती आणि समाधान नांदो. गणेश चतुर्थीच्या मंगलमय शुभेच्छा!
  • 💐 गणेश उत्सव आपल्यासाठी नवीन उमेद, नवीन ऊर्जा आणि यश घेऊन येवो. गणपती बाप्पा मोरया!
  • तुला मी सुंदर मराठी शुभेच्छा कार्ड डिझाईन करून द्यावे का, जे तू शेअर करू शकशील
  • 🌸 गणपती बाप्पा मोरया!
  • तुझ्या चरणी वंदन करतो, आयुष्यातील सर्व विघ्न दूर करून, सुख-समृद्धीचा वर्षाव कर.
  • 🙏 गणेश चतुर्थीच्या शुभेच्छा!
  • श्री गणरायाच्या कृपेने तुमचं जीवन आनंद, प्रेम आणि समाधानाने उजळून निघो.
  • 🌺 गणपती बाप्पा मोरया!
  • आला मोरया गणराया, घेऊन आनंदाचा सागर.
  • तुझ्या आगमनाने घराघरात सुख, शांती व समाधान लाभो.
  • 🪔 विघ्नहर्ता गणेशाचे आशीर्वाद नेहमी आपल्या सोबत राहो,
  • आपल्या प्रत्येक कार्यात यश मिळो.
  • गणेश चतुर्थीच्या हार्दिक शुभेच्छा!
  • 🌼 गणपतीच्या मंगलमूर्तीने तुमचं आयुष्य मंगलमय होवो,
  • नवीन संधी, नवीन आशा आणि नवीन यश मिळो.
  • गणपती बाप्पा मोरया! मंगलमूर्ती मोरया!

निष्कर्ष: गणपति बाप्पा मोरया!

गणेश चतुर्थी 2025 आपके जीवन में सुख, समृद्धि, और बुद्धि लाने का एक शुभ अवसर है। 27 अगस्त 2025 को सुबह 11:01 AM से दोपहर 1:40 PM के शुभ मुहूर्त में गणपति स्थापना करें और ऊपर बताई गई पूजा विधि का पालन करें। इको-फ्रेंडली मूर्ति, मोदक भोग, और कथा पाठ के साथ इस पर्व को भक्ति और उत्साह से मनाएं। गणपति बाप्पा आपके सभी विघ्न दूर करें और आपके जीवन को मंगलमय बनाएं!

अधिक धार्मिक और त्योहार अपडेट्स के लिए हमारे साथ जुड़े रहें। इस लेख को शेयर करें और गणेश चतुर्थी 2025 को अपने प्रियजनों के साथ उत्साहपूर्वक मनाएं!